भारत का स्विट्जरलैंड कहा जाने वाला कश्मीर आतंकवाद के काले साया से घिर चुका है। पहलगाम में जिस तरह से पर्यटकों को निशाना बनाया गया, उनकी हत्या की यह एक सभ्य समाज की छवि नहीं हो सकती। आतंकवादियों के कायराना हरकत के विरोध में पूरा देश एकजुट हो चुका है। इसका असर झारखंड की राजधानी रांची में भी देखा जा रहा है।
राजधानी रांची के अपरबाजार के व्यापारियों ने अलग ढंग से अपना आक्रोश व्यक्त किया। व्यापारियों ने पाकिस्तान के झंडे को जमीन में रखकर विरोध किया पाकिस्तान मुर्दाबाद के नारे लगे। व्यापारी अशोक पुरोहित बताते हैं, पाकिस्तान की अहम भूमिका रही है तभी आतंकवादियों ने ऐसे जघन्य घटना को अंजाम देने का का कार्य किया। महज धर्म देखकर हत्या कर दी गई। क्या हमारे भारत देश में ही हिंदू होना पाप अब सम्पूर्ण देश को एकजुट होने की आवश्यकता है।
कश्मीर के पहलगाम में हुए आतंकी हमले के विरुद्ध देश के लोगों का आक्रोश थमने का नाम नहीं ले रहा है। पूरे देश भर में आक्रोश प्रदर्शन किया जा रहा है। इसी बीच झारखण्ड की राजधानी रांची में भी लगातार सामाजिक संगठन एवं राजनीतिक दलों के द्वारा अलग-अलग तरीके से विरोध जताया जा रहा है। आज हिंदूवादी नेता भैरव सिंह के नेतृत्व में समस्त हिंदू संगठनों ने एकजुट होकर विशाल आक्रोश मार्च निकाला, जिसके माध्यम से संदेश देने का प्रयास की अब देश एकजुट हैं और प्रधानमंत्री से अपील कर रहा है कि पाकिस्तान पर जोरदार प्रहार किया जाए। आक्रोश मार्च के दौरान काफी संख्या में लोग मौजूद रहे। खास बात रही कि महिला से लेकर युवा वर्ग सभी की उपस्थिति आक्रोश मार्च के दौरान दिखी सभी ने एकजुट होकर पाकिस्तान मुर्दाबाद के नारे लगाए।
आतंकवाद का कोई धर्म नहीं होता लेकिन मरने वाला हमेशा एक हिंदू ही होता है : भैरव सिंह
आक्रोश मार्च के दौरान हिंदूवादी नेता भैरव सिंह ने आतंकी हमले की निंदा करते हुए कहा कि धर्म पूछकर निर्दोष हिंदू पर्यटकों का हत्या कर दी गई और अब भी देश के सेकुलर लोग और बुद्धिजीवी लोग एक विशेष समुदाय के बचाव में कह रहे हैं कि आतंकवाद का कोई धर्म नहीं होता लेकिन कटु सत्य है कि मरने वाला हमेशा से एक हिंदू ही रहा है। देश में वोट बैंक की राजनीति इस कदर हावी हो चुकी है कि नेता गण गलत को भी सही ठहराने में लगे हैं। देश के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से विनती है कि पाकिस्तान का नक्शा बदल कर रखदे ऐसी कारवाई करे कि पाकिस्तान हमेशा याद रखे।